उत्तरकाशी के निर्माणाधीन सिल्क्यारा सुरंग में फंसे 41 श्रमिकों को सुरक्षित निकालने के लिए राहत और बचाव अभियान जारी है। श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए पांच योजनाओं पर काम किया जा रहा है। इसमें से एक योजना पर राहत और बचाव अभियान युद्धस्तर पर जारी है, जबकि चार अन्य योजनाओं पर तेजी से काम करने की योजना बनाई जा रही है। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी और मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज घटनास्थल का निरीक्षण कर राहत कार्यों का जायजा लिया। इससे पहले कल प्रधानमंत्री कार्यालय के उप सचिव मंगेश घिल्डियाल, प्रधानमंत्री के पूर्व सलाहकार तथा उत्तराखण्ड सरकार के विशेष कार्याधिकारी भास्कर खुल्बे ने सुरंग का निर्माण कर रही राष्ट्रीय राजमार्ग एवं बुनियादी ढांचा विकास निगम लिमिटेड के निदेशक अंशु मनीष खलको के साथ ही संबंधित अधिकारियों और विशेषज्ञों के साथ बैठक कर लंबी चर्चा की। पत्रकारों से बातचीत में प्रधानमंत्री कार्यालय के उप सचिव घिल्डियाल ने बताया कि सरकार हर वैकल्पिक तरीकों पर कार्य कर रही है और दुनिया भर के विशेषज्ञों से भी सुझाव लिए जा रहे हैं। प्रधानमंत्री के पूर्व सलाहकार भास्कर खुल्बे ने कहा कि जल्द ही सभी चार अन्य योजनाओं पर काम शुरू कर दिया जाएगा। खबर है कि सुरंग में फंसे सभी श्रमिक प्रशासन के संपर्क में हैं और सभी लोग सुरक्षित बताये जा रहे हैं। उन्हें पाइप के जरिए खाना, दवाई और पर्याप्त ऑक्सीजन भी पहुंचाई जा रही है। गौरतलब है कि 12 नवंबर को सुरंग के अंदर हुए भूस्खलन के चलते 41 श्रमिक टनल में फंसे हुए हैं, जिन्हें निकालने के लिए देशभर की कई एजेंसियां लगाई गयी हैं।
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